जयपुर, 18 अक्टूबर :भाषा: राजस्थान में राजकीय सेवाओं एवं शिक्षण संस्थानों में आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग :ईडब्ल्यूएस: को 10 प्रतिशत आरक्षण देने के लिये परिवार की कुल वार्षिक आय :अधिकतम 8 लाख रूपये: को ही एक मात्र आधार माना जाएगा। एक बयान के अनुसार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा लिये गये इस निर्णयके अनुसार प्रावधानों में संशोधन किया गया है। इस निर्णय के अनुसार अन्य सम्पत्ति संबंधी प्रावधानों को सरकार ने समाप्त करने का निर्णय लिया है। गहलोत ने राज्य सरकार की सेवाओं एवं शिक्षण संस्थाओं के लिये आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग की पात्रता के लिये 5 एकड़ और इससे अधिक की कृषि भूमि, एक हजार वर्ग फुट और इससे अधिक के आवासीय फ्लैट, अधिसूचित नगरपालिकाओं में 100 वर्ग गज एवं उससे अधिक के आवासीय भूखण्ड तथा अधिसूचित नगरपालिका से भिन्न क्षेत्रों में 200 वर्ग गज या उससे अधिक के आवासीय भूखण्ड के मापदण्डों को समाप्त करने के निर्देश दिए हैं। गहलोत ने आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग के युवाओं की परेशानी को ध्यान में रखते हुए शुक्रवार को यह निर्णय किया। इससे आर्थिक रूप से कमजोर युवाओं को राज्य की राजकीय सेवाओं एवं शिक्षण संस्थाओं में आरक्षण के उचित अवसर मिल सकेंगे और नियमों की अनावश्यक बाधाओं से उन्हें मुक्ति मिलेगी।
राजस्थान में ईडब्ल्यूएस आरक्षण में अब केवल वार्षिक आय ही पात्रता का आधार
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