बेमेतरा। राज्य शासन के निर्देश अनुसार इस वर्ष फसलों की गिरदावरी करते समय राजस्व अमले पटवारियों को संबंधित फसल के खेत में खुद खड़े होकर फोटो भी खीचनी होगी। फोटो में खेत-किसान-पटवारी को दिखना होगा। राजस्व विभाग द्वारा चालू खरीफ मौसम की फसलो की गिरदावरी के लिए दिशा निर्देश जारी कर दिये गये है। कल कलेक्टोरेट सभकक्ष मे राजस्व अधिकारियों की बैठक मे कलेक्टर ने जिले में गिरदावरी के लिए की गई तैयारियों और कार्ययोजना पर राजस्व अधिकारियो के साथ गहन मंत्रणा की। बैठक मे अपर कलेक्टर संजय कुमार दीवान, जिले के सभी चार एसडीएम तहसीलदार, नायब तहसीलदार एवं राजस्व निरीक्षक उपस्थित थे। जिले में खरीफ फसलों की गिरदावरी 01 अगस्त से 20 सितंबर तक की जाएगी। कलेक्टर ने राजस्व अधिकारियो को चेताया कि गिरदावरी के काम में लापरवाही बर्दाश्त नही होगी। गिरदावरी के आधार पर ही आगामी धान खरीदी सीजन में किसानो के धान के रकबे का पंजीयन किया जायेगा, इसलिए गिरदावरी का काम पूरी सावधानी और तत्परता से करना होगा। उन्होने इस काम में लापरवाही बरतने पर तत्काल निलंबन की कार्यवाही की चेतावनी भी राजस्व विभाग के मैदानी अमले को दी। बैठक मे कलेक्टर ने निर्देशित किया कि गिरदावरी के दौरान अन्य फसलों का रकबा किसी भी परिस्थिति में धान और मक्के के रकबे में शामिल न होने पाए। जिले में सब्जियां, फल-फूल सहित अन्य फसलें खरीफ सीजन के दौरान उगायी जाती है। गिरदावरी के दौरान अन्य फसलों के रकबे का धान विक्रय के लिए पंजीयन न हो यह सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए है। गिरदावरी के दौरान पटवारी और किसान सहित लगाई गई फसल वाले खेत का खसरावार फोटोग्राफ मोबाइल पर अनिवार्य रूप से लिए जाने तथा इसको डिजिटली संबंधित राजस्व अधिकारी को अभिलेख के लिए भेजने के निर्देश दिए गए हैं। स्लेट में खसरा नम्बर चॉक से लिखकर खसरा नम्बर बढ़ते अनुक्रम में फोटोग्राफ लेने को कहा गया है। ग्रामवार बोई गई फसलों के रकबे का प्रारंभिक प्रकाशन 21 सितंबर तक किया जाएगा। राज्य के सभी गांवो में किसानवार, फसल क्षेत्राच्छादन का प्रकाशन कर दावा आपत्ति 28 सितंबर तक प्राप्त की जाएगी। प्राप्त दावा-आपत्ति का निराकरण कर खसरा पांच साला एवं भुइंया सॉफ्टवेयर की प्रविश्टि में 14 अक्टूबर तक संशोधन किया जाएगा। कलेक्टर सभी अनुविभागीय राजस्व अधिकारियो को गिरदावरी के कार्य को पूरी सतर्कता और पारदर्शिता के साथ पूरा कराने के निर्देश दिए गए है। इस संबंध में राज्य शासन के स्पष्ट निर्देश है कि राजस्व अभिलेखों की शुद्धता के साथ ही समर्थन मूल्य पर धान और मक्के की खरीदी, राजीव गांधी किसान न्याय योजना तथा राजस्व पुस्तक परिपत्र 6-4 के अंतर्गत आर्थिक अनुदान और प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का सफल क्रियान्वयन गिरदावरी की शुद्धता पर निर्भर है। इसके मद्देनजर गिरदावरी शत-प्रतिशत सही और सटीक हो इस बात पर विशेष ध्यान रखा जाए।
फील्ड न जाकर घर बैठे गिरदावरी भरने पर होगी पटवारियों के खिलाफ कार्यवाही
July 22, 2020
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