मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार को ट्वीट कर मांग की गई.
भारतीय राज्य पेंशनर्स महासंघ के राष्ट्रीय महामन्त्री व छत्तीसगढ़ राज्य संयुक्त पेंशनर्स फेडरेशन के प्रदेश संयोजक वीरेंद्र नामदेव ने आज भारत निर्वाचन आयोग के मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार को ट्वीट कर उनके छत्तीसगढ़ आगमन पर स्वागत करते हुए मांग की है कि छत्तीसगढ़ राज्य में अधिकारियों एवं कर्मचारियों की सेवानिवृत होने की आयु 62 और 65 वर्ष है. उम्रदराज होने पर भी इनकी ड्यूटी निर्वाचन में लगाना अनुचित हैं, अत: 55 वर्ष की उम्र के बाद बुजुर्गों की ड्यूटी पर रोक हेतु सरकार को स्पष्ट दिशा निर्देश दिया जाए.
जारी विज्ञप्ति में वीरेंद्र नामदेव ने आगे बताया गया है कि सरकार पेंशनर्स की संख्या में वृद्धि को देखते हुए जानबूझकर रिटायरमेंट की आयु को 62 वर्ष कर दिया है और चिकित्सकों को 65 वर्ष तक सेवा करने का अवसर दिया है. वास्तव यह आयु काम करने का नहीं आराम करने का है. सेवानिवृति आयु में वृद्धि के बाद शासकीय सेवा कर रहे उम्रदराज बुजुर्ग कर्मचारियों और अधिकारियों की चुनाव ड्यूटी लगा दी जाती है. हर चुनाव में ऐसा होता है. इसके बाद बुजुर्ग कर्मचारी अपनी शारीरिक कमजोरी, स्वास्थ्यगत समस्याओं को लेकर परेशांन जिला निर्वाचन कार्यालय में आवेदन लेकर ड्यूटी निरस्त करने की मांग करता है, कुछ लोग सफल रहते है, परंतु बहुत लोगो को थकहार कर मजबूर होकर चुनाव ड्यूटी में दूर गाँव तक जाना ही पड़ता है. जिसके कारण वह और बीमार हो जाता है. इसलिए इस दिशा में विचार कर 55 वर्ष से अधिक उम्र के लोगो को चुनाव ड्यूटी से छूट का स्थायी प्रावधान करने की जरूरत पर बल दिया है.
जारी विज्ञप्ति में वरिष्ठ नागरिक परिसंघ छत्तीसगढ़ के प्रदेश संयोजक अनूप श्रीवास्तव, राज्य कर्मचारी संघ छत्तीसगढ़ के प्रदेश महामन्त्री ए के चेलक, भारतीय राज्य पेंशनर्स महासंघ निर्वाचन आयोग प्रकोष्ठ प्रमुख ओ डी शर्मा आदि ने भी मुख्य चुनाव आयुक्त से इस मांग को गम्भीरता लेने और वरिष्ठ नागरिक श्रेणी के सेवारत अधिकारियों एवं कर्मचारियों की सेहत को ध्यान में रखकर तुरन्त राज्य सरकार को निर्देश जारी करने की मांग की है.













