प्रत्याशियों में जबर्दस्त आक्रोश, मंगलवार को बैठक की तैयारी…
रायपुर। छत्तीसगढ़ मनवा कुर्मी समाज के भीतर ऐसे भी कुछ लोग मौजूद थे जो समाज का निर्वाचन तहेदिल से नहीं होने देना चाहते थे। और इन लोगों ने ऐसा खेल खेला कि कोरोना का बहाना बनाकर समाज के निर्वाचन को रद्द करा दिया गया। निर्वाचन रद्द कराये जाने को लेकर समाज के केन्द्रीय अध्यक्ष प्रत्याशियों में जर्बदस्त आक्रोश देखने को मिल रहा है। इन लोगों ने आक्रामक शब्दों में चुनाव रद्द कराये जाने पर कड़ी आपत्ति दर्ज कराते हुए इसकी घोर निंदा की है। प्रत्याशियों में अधिकतर का कहना था कि जब असम और बंगाल में विधानसभा चुनाव कराये जा रहे है तो यह तो समाज का छोटा सा चुनाव है, इसे संपन्न कराया जा सकता था।
प्रत्याशियों का ये है कहना
चुनाव की अनुमति के लिए कलेक्टर के पास जाना ही नहीं चाहिये था-अनिता वर्मा
छत्तीसगढ़ मनवा कुर्मी क्षत्रिय समाज के केन्द्रीय अध्यक्ष प्रत्याशी श्रीमती अनिता वर्मा ने कहा कि कोरोना के नाम से चुनाव कराया जाना चाहिये, यह तो समाज का छोटा सा चुनाव है। मतदान का समय बढ़ाकर चुनाव 4 अप्रैल को ही अवश्य कराया जाना चाहिये। उन्होंने कहा कि चुनाव की अनुमति के लिए कलेक्टर के पास अनुमति के लिए जाना ही नहीं चाहिये था।
चुनाव रद्द कराना एक षडयंत्र, प्रत्याशियों में आक्रोश है, मंगलवार को बैठक करेंगे-उमाकांत वर्मा
छत्तीसगढ़ मनवा कुर्मी क्षत्रिय समाज के केन्द्रीय अध्यक्ष प्रत्याशी उमाकांत वर्मा ने कहा कि समाज के केन्द्रीय अध्यक्ष और राजप्रधान पद के लिए 4 अप्रैल को ही मतदान कराना चाहिये, लगता है षडयंत्रपूर्वक चुनाव रद्द कराया गया है। उन्होंने कहा कि इससे प्रत्याशियों में जबर्दस्त आक्रोश है और इसी के संबंध में मंगलवार 30 मार्च को कुर्मी बोर्डिंग तात्यापारा रायपुर में केन्द्रीय अध्यक्ष और राजप्रधान पद के प्रत्याशियों की एक बैठक रखी गई है। उन्होंने कहा कि चुनाव की अनुमति के लिए कलेक्टर से मिलने का कोई औचित्य नहीं है क्योंकि यह समाज का चुनाव है और मतदाताओं की संख्या भी काफी कम है, कोरोना गाइडलाइन का पालन करते हुए चुनाव कराया जाना चाहिये। उन्होंने कहा कि पिछले नंवबर माह से राजअधिवेशन और महाधिवेशन संपन्न हुआ तब क्यों अनुमति नहीं ली गई थी।
निर्वाचन अधिकारी अपने विवेक का इस्तेमाल करे, कलेक्टर के पास नहीं जाना चाहिये-चोवाराम वर्मा
छत्तीसगढ़ मनवा कुर्मी क्षत्रिय समाज के केन्द्रीय अध्यक्ष चोवाराम वर्मा का कहना है कि यह तो समाज का चुनाव है, इसे होना चाहिये इसमें कलेक्टर का हस्तक्षेप नहीं होना चाहिये। उन्होंने कहा कि समाज के निर्वाचन अधिकारी अपने विवेक का इस्तेमाल करे और मतदान का समय 8 बजे 4 बजे तक किया जाये।
सोशल मीडिया पर भी हो रहा चुनाव रद्द करने विरोध
सोशल मीडिया में एक यूजर ने विरोध दर्ज कराते हुए कहा है कि बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है छत्तीसगढ़ मनवा कुर्मी क्षत्रिय समाज का चुनाव स्थगित होना और उससे भी अधिक दुर्भाग्यपूर्ण है समाज में बैठे ठेकेदारों द्वारा इस पर चुप्पी साध लेना। वज़ह कई राज्यों मे चुनाव की रैलियां हो रही है, हजारों लाखों लोग शामिल हो रहे है, मगर उससे कोरोना नहीं फैल रहा है, आप उन राज्यो के आंकड़ों को देख सकते है। अभी अभी छत्तीसगढ़ में अंतर्राष्ट्रीय स्तर का क्रिकेट प्रतियोगिता हुआ, तब ये शासन प्रशासन धृतराष्ट्र बने बैठे थे। सामाजिक चुनाव कोई एक स्थान पर नहीं होना है जिसमें भीड़ जैसा कोई माहौल पैदा होगा, ये तो प्रत्येक गांव एवं शहरों में बूथ के माध्यम से होगा, जहां पर एक-एक बूथ में अधिकतम 300 से 400 लोग होंगे। वहां पर शारीरिक दूरी का पालन करते हुए चुनाव कराया जा सकता है। अत: इसे स्थगित करना दुर्भाग्यपूर्ण है।












