भारत में कई तरह की पवित्र नदियां और महासागर है जो हिन्दू देवी देवताओं से सम्बंधित है। उनमे हिन्दू धर्म से जुड़ी बहुत सी मान्यताएं होती है। सभी नदियां और महासागर अपनी एक विशेषता रखते हैं और प्रकति की अनदेखी खूबसूरती की झलक दिखाते हैं।। सभी नदियां और महासागर में पापी अपने पाप धोकर पवित्र हो जातें है। लेकिन हम एक ऐसे अद्भुत झरने के बारे में जानेंगे,जो पापी इंसान के शरीर को छूटा तक नहीं।
भारत की देवभूमि उत्तराखंड में कई बेहद खूबसूरत झरनें है। इसमें से सबसे अद्भुत झरना वसुधारा झरने के नाम से प्रसिद्ध है। जो पापी इंसान से दूर ही रहता है। यह स्थान बद्रीनाथ से करीब 8 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। जिसके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं। इस पवित्र झरने के कई रहस्य है जिसके बारे में किसी को भी कुछ पता नहीं चल पाया है। वसुधारा झरना करीब 400 फीट ऊंचाई से गिरता है। इसकी जलधारा गिरते समय मोतियों के समान नजर आती है।
यहां आकर स्वर्ग में होने की अनुभूति होती है।
ग्रंथों के अनुसार, यहां पांच पांडव में से सहदेव ने अपने प्राणों का त्याग किया था। कहा जाता है कि यदि इस झरने के पानी के बूंद आपके ऊपर गिरने लगे तो आप समझ जाएं कि आप एक पुण्य आत्मा है। इसी कारण यह झरना हमारे देश में ही नहीं विदेशों में भी बहुत लोकप्रिय है।चमत्कारी झरने को देखने के लिए हमारे देश और विदेशों से भी लोग आते है। कहा जाता है कि इस झरने का पानी कई जड़ी-बूटियों वाले पौधों को छूकर नीचे आता है इसीलिए जिस पर भी यह झरने का पानी पड़े वह हमेशा के लिए निरोगी हो जाता है। वसुधारा झरने तक पहुँचने के लिए आपको पहले माणा गांव से ट्रैकिंग की शुरुआत करनी होगी,और फिर झाड़ियों से होते हुए यहां पहुंचना होगा।