पंजाब पुलिस ने विदेश-आधारित खालिस्तान लिबरेशन फोर्स (केऐलऐफ) के पांच गुर्गों को गिरफ़्तार करके स्वतंत्रता दिवस से पहले पाकिस्तानी एजेंसी आई. एस. आई. की साजिश को नाकाम कर दिया। डायरैक्टर जनरल आफ पुलिस (डीजीपी), पंजाब गौरव यादव ने बताया कि इस आतंकी माड्यूल के निशाने पर अल्पसंख्यक नेता, पुलिस अधिकारी और अन्य प्रमुख शख्सीयतें थीं। एस. ए. एस. नगर के स्टेट स्पेशल आपरेशन सेल (एसऐसओसी) ने तुरंत केस दर्ज करके विशेष आपरेशन शुरू किया और दो हफ़्तों तक चले आपरेशन के दौरान पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया गया। इस नए बने माड्यूल के सम्बन्ध उन विदेशी हैंडलरों के साथ जुड़े होने का भी पता चला जिन्होंने 24 जून, 2023 को बटाला में राजीव महाजन को निशाना बनाया था और वह राज्य में सुनियोजित कत्ल की अलग-अलग घटनाओं को अंजाम देने के लिए इन गुर्गों के द्वारा इस अलग माड्यूल को चला रहे थे।
जांच के दौरान यह भी सामने आया है कि के. एल. एफ के गुर्गे फज़ऱ्ी नाम रणजोध सिंह का प्रयोग करके भारत में नौजवानों की पहचान कर रहे हैं और जेल में बंद अपराधियों के द्वारा गिरोह में मैंबर भर्ती कर रहे हैं। उन्होंने आगे कहा कि फिर वह सोशल मीडिया का प्रयोग करके ऐसे नौजवानों को भ्रमित करते हैं और राज्य में सुनियोजित कत्ल की घटनाओं को अंजाम देने के लिए उनके बैंक खातों में पैसे ट्रांसफर करते हैं। स कार्यवाही के बारे और जानकारी देते हुये एआईजी ऐसऐसओसी ऐसएऐस नगर अश्वनी कपूर ने बताया कि यह पता लगा है कि केऐलऐफ के विदेश आधारित हैंडलरों ने माड्यूल के सदस्यों को निशाना बनाये जाने वाले व्यक्तियों की सूची प्रदान की थी और उन्होंने पहले ही कुछ व्यक्तियों की रेकी भी की हुई थी। उन्होंने कहा कि इस सम्बन्धी आगे जांच जारी है।
इस सम्बन्धी भारतीय दंड संहिता (आइपीसी) की धारा 153, 153-ए और 120-बी, आर्मज़ एक्ट की धारा 25 (7) और 25 और अवैध गतिविधियां (रोकथाम) एक्ट ( यू. ए. पी. ए.) की धारा 18 और 20 के अंतर्गत थाना ऐसऐसओसी ऐसएऐस नगर में पहले ही केस दर्ज किया जा चुका है।