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सिविल सर्जन समेत 18 लोगों को नोटिस

धमतरी। छत्तीसगढ़ के धमतरी से जिला अस्पताल को लेकर एक बड़ी खबर सामने आई है। जहां जिला कलेक्टर ने सिविल सर्जन सहित 18 कर्मचारियों को नोटिस थमाया है। इसके अलावा कलेक्टर ने एक दिन का वेतन काटने का भी निर्देश दिया है। जानकारी के मुताबिक जिला अस्पताल में अव्यवस्था के चलते कलेक्टर ने इन्हें नोटिस थमाया है। दरअसल, मंगलवार शाम धमतरी कलेक्टर नम्रता गांधी ने जिला अस्पताल का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान अस्पताल में फैली बदबू और गंदगी देख कर कलेक्टर ने सिविल सर्जन और डॉक्टरों को जमकर फटकार लगाई। कलेक्टर ने पाया कि मरीजों को दिया जाने वाला खाना बेहद खराब क्वालिटी का है। निरीक्षण के समय अस्पताल के कई कर्मचारी नदारद भी मिले। अब लापरवाह सिविल सर्जन समेत 18 लोगों को नोटिस जारी किया गया है। कलेक्टर के इस औचक निरीक्षण के बाद खलबली मच गई है। धमतरी में यह अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई हुई है। अस्पताल में डॉक्टरों के नदारद होने पर कलेक्टर ने जिला अस्पताल के सिविल सर्जन समेत 18 लोगों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। एक दिन पहले कलेक्टर नम्रता गांधी धमतरी जिला अस्पताल की हालत देख जमकर भड़की थी। सिविल सर्जन एसके टोन्डर को भी नोटिस जारी हुआ है। क्योंकि जिला अस्पताल की देखरेख की जिम्मेदारी इन्हीं के हाथों में रहती है। कलेक्टर ने 8 डॉक्टरों को अनुपस्थित रहने की वजह से कारण बताओ नोटिस और एक दिन का वेतन काटने के आदेश जारी किया है, जिनमें डॉ. पीतांबर प्रधान (रेडियोलॉजिस्ट), डॉ. लोकेश साहू (पैथोलॉजिस्ट), डॉ. जेएस खालसा (नेत्र रोग विशेषज्ञ), डॉ. विभोर नंदा (सर्जरी विशेषज्ञ), डॉ. उत्कर्ष नंदा (चिकित्सा अधिकारी), डॉ. मेहताब अहमद (चिकित्सा अधिकारी), डॉ. समीक्षा चरयाणी (चिकित्सा अधिकारी), डॉ. निधि ध्रुव (चिकित्सा अधिकारी) शामिल हैं। इसके साथ ही अन्य 8 डॉक्टरों द्वारा लेट अस्पताल पहुंचने पर कारण बताओ नोटिस जारी किया है। इनमें डॉ. रश्मि साहू, डॉ. राकेश सोनी, डॉ. आशीष खालसा, डॉ. राकेश साहू, डॉ. हर्षा जीचकर, डॉ. तेजस साहू, डॉ. रविकिरण शिंदे, डॉ. पूजा चन्द्राकर शामिल हैं।

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