रायपुर । प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष दीपक बैज ने अबूझमाड़ क्षेत्र में कथित मुठभेड़ के दौरान घायल हुई बच्ची से मुलाकात की। डीकेएस अस्पताल में उन्होंने बच्ची का हालचाल जाना और मुठभेड़ में मारे गए लोगों के मामले पर राज्य सरकार और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर गंभीर सवाल उठाए।
दीपक बैज का आरोप
मीडिया से चर्चा करते हुए दीपक बैज ने कहा कि बस्तर में अमित शाह की मौजूदगी से पहले निर्दोष आदिवासियों को निशाना बनाया गया। 11 तारीख की इस घटना में सरकार द्वारा सात लोगों की मौत की जानकारी दी गई, लेकिन ग्रामीणों का कहना है कि इनमें से केवल दो लोग नक्सली थे, जबकि पांच निर्दोष ग्रामीण थे।
बैज ने सवाल किया, “यदि कोई ग्रामीण बच्चा डर के मारे जंगल भागता है, तो क्या उसे नक्सली माना जाएगा? क्या घर में काम कर रहे निर्दोष आदिवासियों को उठाकर मुठभेड़ में मारना न्यायसंगत है?” उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार ने इस मामले को दबाने की कोशिश की ताकि केंद्रीय गृह मंत्री की यात्रा के दौरान विरोध की आवाजें न उठें।
नक्सलियों का सफाया नहीं, निर्दोषों का शिकार
पीसीसी चीफ ने कहा, “हम टार्गेटेड एनकाउंटर का समर्थन करते हैं, लेकिन निर्दोष आदिवासियों की हत्या किसी भी स्थिति में स्वीकार्य नहीं है। क्या आदिवासियों को मारकर नक्सल समस्या खत्म की जाएगी?”
उन्होंने बस्तर की पिछली सरकारों के कार्यकाल की आलोचना करते हुए ताड़मेटला की घटना का जिक्र किया, जिसमें आदिवासियों के घर जला दिए गए थे। बैज ने कहा कि बस्तर में शांति लाने के लिए निर्दोषों का खून बहाना गलत है और कांग्रेस इस तरह की घटनाओं का पुरजोर विरोध करती है।
शांति की मांग
दीपक बैज ने कहा कि उनकी पार्टी चाहती है कि बस्तर में शांति स्थापित हो, लेकिन निर्दोष आदिवासियों को मारकर शांति की बात करना अस्वीकार्य है। उन्होंने राज्य सरकार और सुरक्षा एजेंसियों से मुठभेड़ की निष्पक्ष जांच की मांग की और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की अपील की।
इस घटना ने अबूझमाड़ क्षेत्र में मानवाधिकार और सुरक्षा नीतियों को लेकर एक बार फिर से बहस छेड़ दी है।